महिलाओं की सुरक्षा पर उठ रहे सवाल : साहिबगंज में पिंक पेट्रोलिंग बंद
महिलाओं की सुरक्षा पर उठ रहे सवाल, पिंक पेट्रोलिंग बंद, मनचलों और लफंगों पर नहीं रहा लगाम
साहिबगंज : महिलाओं की सुरक्षा और उनके ख़िलाफ़ होने वाली आपराधिक घटनाओं को रोकने के लिए साहिबगंज शहर में पिंक पेट्रोलिंग योजना की शुरुआत हुई थी। इस टीम में सभी आरक्षी महिलाएं शामिल थीं। लेकिन अब साहिबगंज में पिंक पेट्रोल योजना लगभग ठप हो गई है, जिसके कारण महिलाओं की सुरक्षा पर सवाल उठने लगे हैं।
इस योजना के तहत महिला पुलिस अधिकारी और आरक्षी शहर के संवेदनशील इलाकों में पेट्रोलिंग करती थीं, जिससे मनचलों और लफंगों पर लगाम लगती थी। हालांकि, महिला आरक्षियों और हवलदारों की कमी के कारण इस योजना को स्थगित कर दिया गया है। अब महिला थाना प्रभारी के पास इसकी जिम्मेदारी है, लेकिन नियमित पेट्रोलिंग बंद हो गई है।
स्थानीय लोगों का कहना है कि इस योजना को फिर से शुरू किया जाना चाहिए, ताकि महिलाओं को सुरक्षित माहौल मिल सके। पिंक पेट्रोलिंग बंद होने से महिलाओं की सुरक्षा और मनचलों पर अंकुश लगाने में बड़ी परेशानी हो रही है, क्योंकि यह योजना महिलाओं को सुरक्षित महसूस कराने और छेड़ - छाड़ जैसी घटनाओं को रोकने में कारगर साबित हुई थी।
वर्तमान में पिंक वाहन को महिला थाना प्रभारी के सुपुर्द कर दिया गया है, जिससे नियमित गश्ती बंद हो गई है, जो पहले संवेदनशील स्थानों- जैसे स्कूल-कॉलेज भीड़-भाड़ वाली जगहों में होती थी। उल्लेखनीय है कि पिंक पेट्रोलिंग का उद्देश्य महिलाओं को सुरक्षित वातावरण देना था। इसके बंद होने से छात्राओं और अन्य महिलाओं की सुरक्षा पर असर पड़ा है।
पिंक पेट्रोल वाहन को देखकर मनचले और असामाजिक तत्व डरते थे, क्योंकि उन्हें महिला अधिकारियों द्वारा सख्ती से पूछताछ किए जाने का डर होता था। अब उनके हौसले बढ़ गए हैं। महिला पुलिस टीम को देखकर महिलाओं को मानसिक सुरक्षा का एहसास होता था। अब इस सुरक्षा की भावना में कमी आई है। साहिबगंज में पिंक पेट्रोलिंग का वाहन महिला थाना प्रभारी के पास चला गया है, जिससे नियमित और व्यवस्थित गश्त बंद हो गई है।

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